बिजली के तार के संपर्क में आने पर हमें जोर का झटका लगता है जबकि बिजली के तारो पर बैठे पक्षियों को करंट नही लगता है। ऐसा क्यों होता हैं?
कभी आपने सोचा होगा कि हम अगर हम बिजली के खुले तारों को हाथ लगा दे तो हमें एक जोरदार झटका लगता है और हम पूरी तरह से घायल हो जाते हैं लेकिन अगर एक चिड़िया या कोई पक्षी बिजली के तारों पर बैठा हो तो उसे करंट नहीं लगता है.
Om Prakash Patidar
कभी आपने सोचा होगा कि हम अगर हम बिजली के खुले तारों को हाथ लगा दे तो हमें एक जोरदार झटका लगता है और हम पूरी तरह से घायल हो जाते हैं लेकिन अगर एक चिड़िया या कोई पक्षी बिजली के तारों पर बैठा हो तो उसे करंट नहीं लगता है.
आखिर ऐसा क्यों होता है :-
दोस्तों हम जानते हैं की करंट एक तरह से इलेक्ट्रानों का आगे बढ़ना होता है जिसमें इलेक्ट्रान तार के सहारे आगे बढ़ते चले जाते हैं और इसी तरह से इलेक्ट्रान बिजली के तारो के द्वारा हमारे घरों में बिजली के रूप में पहुंचते हैं ,और सर्किट के द्वारा जमीन में चले जाते हैं इस तरह से एक सर्किट पूरा हो जाता है.
बिजली हमेशा दो सिद्धांतों पर कार्य करती है
1. पहला सिद्धांत :-
इलेक्ट्रान हमेशा आगे की ओर बढ़ते रहते हैं और इलेक्ट्रानों को फ्लो करने के लिए एक सर्किट का पूरा होना जरूरी है और अगर सर्किट पूरा नहीं होता है तो करंट नहीं लगता है.
2. दूसरा सिद्धांत :-
इलेक्ट्रान हमेशा कम बाधाओं वाला रास्ता चुनते हैं अगर रास्ते में कोई बाधा हो तो इलेक्ट्रॉन धातु से होते हुए आगे बढ़ जाते हैं जैसे की हम जानते हैं धातु बिजली की बहुत अच्छी सुचालक होती है धातुओं से बिजली आसानी से एक जगह से दूसरी जगह चली जाती है.
इसी प्रकार धातु से बने तारों के द्वारा करंट एक स्थान से दूसरे स्थान पर पहुंच जाता है अगर कोई चिड़िया उस खुले तार पर बैठ जाए तो उसे करंट नहीं लगता है लेकिन जब उसी तार को अगर हम छू ले तो हमें जोरदार करंट लगता है.
इसका कारण यह है कि जब चिड़िया खुले तार पर बैठी है तो उसका संपर्क उस तारा के अलावा किसी और वस्तु से नहीं होता है जिस कारण इलेक्ट्रॉन अपना सर्किट पूरा नहीं कर पाते और वह बिना बाधाओं वाले रास्ते से होते हुए आगे बढ़ जाते है और चिड़िया को कोई करंट नहीं लगता है.
इसी प्रकार अगर कोई मनुष्य भी खुले तार पर बैठ जाए तो उसे भी करंट नहीं लगेगा और बिजली के तारों पर बैठकर किसी वस्तु, पेड़ या बिजली के खंबे को छू लेता है तो उसे जोरदार करेंट लग जाएगा इसी प्रकार अगर कोई चिड़िया बिजली के खंबे पर बैठी हो और किसी तार को छू ले तो उसे भी जोरदार करंट लगेगा.
दूसरे शब्दों में कहे तो हमे बिजली का करंट जब तक नहीं लगता जब तक कि सर्किट पूरा ना हो जाए और बिजली को अर्थिंग (Earthing) ना मिल जाए अगर बिजली को आर्थिंग मिल जाता है तो करंट लगेगा और अगर बिजली को अर्थिंग नहीं मिलता तो करंट नहीं लगेगा.